सांप के विष कितने प्रकार के होते हैं?
सांप का जहर तीन प्रकार का होता है
साइटो टोक्सिन — यह विष शरीर में जाकर मांस पेशियों को गलाना शुरू कर देता है जिससे नाक, कान, मुंह व आंतों से खून बहना शुरू हो जाता है और रक्तश्राव से व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है।
न्यूरो टोक्सिन - यह विष व्यक्ति के तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करता है और व्यक्ति का मस्तिष्क व तंत्रिकाएं काम करना बंद कर देती हैं। उसे नींद आने लगती है और वह बेहोश हो जाता है। उसे लकवा हो जाता है और उसकी मौत हो जाती है।
हीमो टोक्सिन - यह विष व्यक्ति के रक्त को प्रभावित करता है। रक्त के साथ मिलकर यह रक्त कोशिकाओं को समाप्त कर देता है और मस्तिष्क में रक्त न पहुंचने से व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है।
साप के जहर मे एक प्रकार का protine होता हैं ।
जो हमारे खुन को थकके में बदल देता है।
जिस वजह से धड़कन तेजी से कम होने लगती हैं । और हम मर भी सकते हैं ।
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